MPPSC OBC Quota: एमपी हाई कोर्ट का निर्देश, परिणाम में OBC कोटा 14% से अधिक न हो Feb 17th 2022, 15:25 मध्यप्रदेश उच्च न्यायालय (Madhya Pradesh High Court) ने राज्य सरकार और मध्य प्रदेश लोक सेवा आयोग () को यह सुनिश्चित करने का निर्देश दिया है कि 2019 की परीक्षा के परिणाम में अन्य पिछड़ा वर्ग (OBC) के लिए आरक्षण 14 प्रतिशत से अधिक न हो। हाई कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश रवि मलिमथ और न्यायमूर्ति एम एस भट्टी के पीठ ने बुधवार को यह आदेश जारी किया और इसे गुरुवार को उच्च न्यायालय की वेबसाइट पर अपलोड किया गया। अधिवक्ता आदित्य सांघी ने कहा कि अदालत मध्यप्रदेश लोक सेवा आयोग (एमपी-पीएससी) की अभ्यर्थी बैतूल जिले की निहारिका त्रिपाठी और गुना जिले के कपिल सक्सेना द्वारा दायर याचिका पर सुनवाई कर रही थी। याचिका में एमपी-पीएससी द्वारा 27 प्रतिशत आरक्षण के आधार पर दिसंबर 2021 में घोषित मुख्य परीक्षा परिणाम को चुनौती दी गई थी। उच्च न्यायालय ने तब अंतरिम आदेश में एमपी-पीएससी में 27 प्रतिशत ओबीसी आरक्षण पर रोक लगा दी थी। सुप्रीम कोर्ट के फैसले के अनुसार, जाति-आधारित आरक्षण को अधिकतम 50% तक सीमित कर दिया गया है और के एससी, एसटी आरक्षण के साथ 27% ओबीसी कोटा देने का निर्णय कुल आरक्षण को बढ़ाकर 63 प्रतिशत कर देता है, जो कि एस के फैसले का उल्लंघन है। इसलिए उच्च न्यायालय ने प्रतिवादी (राज्य सरकार और एमपीपीएससी) को बुधवार को यह सुनिश्चित करने का निर्देश दिया कि एमपी-पीएससी राज्य सेवा मुख्य परीक्षा 2019 के परिणाम घोषित करते समय ओबीसी श्रेणी के लिए आरक्षण 14 प्रतिशत से अधिक नहीं हो। बता दें कि मध्य प्रदेश पुलिस भर्ती परिणाम 2019 ( ) जल्द जारी किया जाना है और एमपीपीएससी के निर्णय के अनुसार ओबीसी श्रेणी के छात्रों को एमपीपीएससी 2019 परिणाम में 27% ओबीसी आरक्षण मिलेगा। |